Wednesday 1 July 2015

पहले पन्ने पर तुम्हारा नाम - राकेश रोहित

पढ़ने को तो मैं पढ़ता हूँ
बादलों का लिखा
लेकिन नहीं पढ़ पाया वो किताब
जिसके पहले पन्ने पर तुम्हारा नाम लिखा है
और बाकी सफे खाली हैं।

2 comments:

  1. सुन्दर रचना।
    लगातार लिखते रहा करो।

    ReplyDelete
  2. पहले पन्ने पर लिखे नाम को परमानेंट मारकर से मार्क करिए और बाकी पन्नों पर ज़िंदगी लिख दीजिए...
    रचते रहिए संसार...
    रचते रहिए रचनाएँ....!!

    ReplyDelete